मोदी सरकार 3.0 की कैबिनेट में ज्यादा बदलाव नहीं हो रहे हैं, जिसकी खास वजह है विश्वास। पीएम मोदी को अपनी पुरानी कैबिनेट पर पूरा भरोसा है, जिस वजह से वे सदस्यों को फिर से नियुक्त कर रहे हैं। पीएम मोदी के तीसरे कार्यकाल की शुरुआत हो चुकी है। नई सरकार के साथ ही नए राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (National Security Agency) और प्रधान सचिव के पद पर नियुक्ति की जाती है। इन दोनों पदों के लिए सदस्यों का चयन हो चुका है और 10 जून से राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) और प्रधान सचिव का नया कार्यकाल शुरु भी हो जाएगा। जानते हैं पीएम ने किन्हें सौंपी है ये जिम्मेदारी..
तीसरी बार डोवल और मिश्रा के नाम पर लगी मुहर
नरेंद्र मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल में अजित डोवल को फिर से राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) बनाया गया है। बता दें कि अजित डोवल तीसरी बार भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बनाए गए हैं। वहीं रिटायर्ड आईएएस अधिकारी पीके मिश्रा को प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव के रूप में नियुक्त किया गया है। उनकी नियुक्ति प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पहले कार्यकाल के दौरान से जारी है, साथ ही उनके कार्यकाल के दौरान उन्हें वरीयता तालिका में कैबिनेट मंत्री का दर्जा दिया जाएगा।
अजित डोवल और पीके मिश्रा का कार्यकाल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ ही पूरा होगा। इस बाबत एक लेटर जारी कर कहा गया है कि कैबिनेट की नियुक्ति समिति ने अजित डोवल को एनएसए के रूप में नियुक्ति दी है। बता दें कि 10 जून से यह आदेश प्रभावी होगा।
अजित डोवल और पीके मिश्रा पीएम मोदी के पहले कार्यकाल के समय से उनके साथ जुड़े हुए हैं। दोनों ही पीएम को सबसे विश्वसनीय व्यक्ति हैं। साल 2014 में जब पीएम नरेंद्र मोदी की सरकार पहली बार बनी थी। उस दौरान अजित डोवल को बतौर राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार नियुक्त किए गए थे। इस दौरान पीके मिश्रा को पीएम मोदी का प्रधान सचिव बनाया गया था। दूसरे कार्यकाल में भी ये दोनों को पुन: जिम्मेदारी सौंपी गई। अब जब पीएम मोदी का तीसरा कार्यकाल शुरु हो रहा है तो तीसरी बार अजित डोवल और पीके मिश्रा पीएम को ये जिम्मेदारी सौंपी जा रही है। ये दोनों व्यक्ति प्रधानमंत्री के सबसे खास और विश्वसनीय सदस्य हैं।