महिला अफसर की सक्सेसफुल स्टोरी “जो बनी लोगों की सच्ची सेवक”

सक्सेस स्टोरी बहुत सी होती है पर यहां बात कुछ अलग ही है, एक ऐसी महिला की कहानी जिन्होंने हर परीक्षा को अपनी मेहनत से पास किया है। जिनका नाम है आईएएस “दिव्या मित्तल”। जो सिर्फ मेहनत करना जानती है, अपने ज्ञान और परिश्रम से इन्होंने IPS बन नाम कमाया। IPS जैसा पद हासिल करना हर किसी का सपना होता है, पर दिव्या इससे संतुष्ट नहीं हुई और उन्होंने फिर एक्जाम दिया और बन गई IPS से IAS (IAS Divya Mittal)। यहां भी वे थमी नहीं जिस क्षेत्र में उन्हें पोस्टिंग मिली वे वहां के लोगों के लिए भगवान बन गई। लोगों की सेवा में जीवन लगा देने वाली इस महिला का खुद का जीवन आज मुश्किलों में है, जानते हैं क्या वजह है…

महिला आईएएस पर हुई फूलों की बारिश 

यूपी जिले की IAS का वीडियो तो आप सभी ने देखा ही होगा? जिसमें एक महिला आईएएस पर फूलों की बारिश की जा रही थी। ये वीडियो इस साल सितंबर माह का है। ये महिला कोई और नहीं यूपी जिले की IAS दिव्या मित्तल (IAS Divya Mittal) ही थी। जिन्होंने यूपी जिले में महिलाओं के लिए अपने काम करने के तरीके के कारण काफी सुर्खियां बंटोरी थीं।

गांव वालों ने दी ऐसी विदाई 

IAS Divya Mittal

जब वह मिर्जापुर की जिलाधिकारी थीं और उन्‍हें बस्‍ती का डीएम बनाया गया। पर जब उनका तबादला कही और हुआ तो मिर्जापुर की महिलाओं ने उन्हें ऐसी विदाई दी की पूरा देश देखता रह गया। IAS (IAS Divya Mittal) को महिलाओं ने फूलों से लाद दिया । दिव्या ने अपनी सूझबूझ से मिर्जापुर की महिलाओं के लिए बहुत बेहतर कार्य किए हैं, उन्होंने उनको शिक्षित करवाना और जागरुक बनाया। यहीं नहीं उन्होने गांव की सबसे बड़ी पानी की समस्या का समाधान किया। जिस वजह से वे मिर्जापुर के गांव “लहुरियादह” के लोगों की सच्ची सेवक हीं नहीं भगवान बन गईं।

76 साल बाद गांव को दिलाया पानी 

UP Old DM

आईएएस दिव्या मित्तल (IAS Divya Mittal) की कामयाबी कई है, पर कहते हैं ना ? अच्छाईयां बुराईयों के सामने दब  जाती है। कुछ ऐसा ही हुआ इस IAS के साथ। जब वे मिर्जापुर की डीएम बनी तो उन्होंने यहां के गांव “लहुरियादह” में पानी की समस्या को सुलझा दिया। दरअसल ये गांव यूपी एमपी के बॉर्डर पर एक टापू पर स्थित है। यहां के लोगों को देश की आजादी के 76 साल बाद भी पानी की समस्या से जूझना पड़ रहा था। गांव के लोगों को पानी खरीदकर गुजारा करना पड़ता था। पानी खरीदते-खरीदते वे कर्जे में आ गए थे। पर जब DM दिव्या मित्तल आयी तो उन्होंने गांव में हर घर में नल की व्यवस्था करवायी और गांव को लोगों को पानी मिलने लगा।

भलाई करने पर मिला तबादला

दिव्या मित्तल गांव के लोगों की मसीहा बन गईं। पर उनकी ये सफलता समाज के कुछ वर्ग से देखी नहीं गईं, और उन्हें यहां से हटाने की तैयारी की गई। फिलहाल दिव्या मित्तल को प्रतीक्षारत कर दिया गया है। जब वे मिर्जापुर से जा रही थीं तो उन्होंने X पर एक पोस्ट किया। जो काफी वायरल हुआ, जिसमें उन्होंने लिखा था ” आज सामान बांधते हुए हाथ और मन दोनों भारी हो गए”। दिव्या मित्तल भले ही मिर्जापुर से जा चुकी है, पर वे हर दिल में हमेशा राज करेंगी।

हर एक्जाम में रहीं है अव्वल 

IAS Divya Mittal

दिव्या मित्तल हरियाणा के रेवाड़ी की रहने वाली हैं। उन्होंने ने 2012 यूपीएससी सीएसई में ऑल इंडिया लेवल पर 68वीं रैंक हासिल की थी। उन्हें गुजरात कैडर मिला था। उन्होंने प्रतिष्ठित आईआईटी दिल्ली से इंजीनियरिंग की डिग्री हासिल की। बाद में उन्होंने IIM बेंगलुरु से एमबीए किया। कुछ समय के लिए दिव्‍या ने लंदन में भी काम किया। बाद में अपने पति गगनदीप के साथ भारत वापस आ गईं। आईपीएस बनने से वे संतुष्ट नहीं थी तो उन्होंने दोबारा एक्जाम देने की ठानी।

IPS बनने से संतुष्ट नहीं हुईं तो फिर दिया एक्जाम  

IAS

साल 2013 में वे फिर पूरी तैयारी के साथ परीक्षा में बैठी। उनकी मेहनत रंग लायी और वे बन गई आईएएस अधिकारी। दिव्या बचपन से ही पढ़ाई में रुचि रखती रही थीं। उन्हें आज भी पढ़ना बहुत पसंद है। वे सोशल मीडिया प्लेटफार्म X पर IAS और IPS की तैयारी कर रहे छात्रों को सुझाव देती रहती है।

वे पढ़ाई के साथ खुद का ख्याल रखने की भी सलाह देती है। उनके अनुसार रोजाना की पार्क में वॉक आपके मन को शांत करती है। जिससे पढ़ाई में एकाग्रता मिलती है। दिव्या मित्तल आज के समय में हर सरकारी एग्जाम पास करने वाले की रोल मॉडल हैं। उनके साथ मिर्जापुर के लोगों की दुआएं हैं, जो उन्हें हमेशा दुखों से दूर करेगा।