खालिस्तान मामले पर पैदा हुए तनाव के बीच भारत सरकार ने एक बड़ा कदम उठाया है। कनाडा के नागरिकों के लिए भारत ने वीजा सेवाओं (Canada Visa) को अनिश्चितकाल के लिए बंद कर दिया है। इस फैसले पर अब तक कोई आधिकारिक ऐलान तो नहीं हुआ है, पर कनाडा में वीजा केंद्रों को संचालन करने वाले बीएलएस इंटरनेशनल ने अपनी वेबसाइट पर इसकी जानकारी दी है।
बीएलएस इंटरनेशन की वेबसाइट पर जानकारी
बीएलएस इंटरनेशनल की वेबसाइट पर नोटिस लिखा गया है “ भारतीय मिशन की तरफ से महत्वपूर्ण सूचना “परिचालन कारणों की वजह से गुरुवार (21 सितंबर 2023) से भारतीय वीजा (Canada Visa) सेवाओं को अगली सूचना तक निलंबित कर दिया गया है”।
राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार मिले गृहमंत्री से
इस मामले को लेकर बुधवार (20 सितंबर) को संसद के विशेष सत्र के दौरान ही राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल गृह मंत्री अमित शाह से मिलने पहुंचे थे। उसके बाद से भारत लगातार कनाडा खिलाफ एक्शन में है। भारत ने कनाडा से कहा कि जो आरोप लगाए हैं उसके सबूत पेश करने होंगे।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा
भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरंदिम बागची ने गुरुवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि कनाडा में हमारे डिप्लोमैटिक यूनिट को धमकियां मिल रही हैं। वे अपना काम नहीं कर पा रहे हैं। यही वजह है कि वीजा सर्विसेज सस्पेंड की गई हैं।
तनाव की मुख्य वजह
भारत और कनाडा के बीच ये विवाद बहुत पुराना है। पर ये मामला एक बार फिर जोरो पर है। विवाद खालिस्तान आंदोलन पर केंद्रित है। भारत ने कनाडा पर बार-बार अपने देश पर खालिस्तान आंदोलन का समर्थन करने का आरोप लगाया है। जो भारत में प्रतिबंधित है, लेकिन सिख प्रवासियों के बीच इसका समर्थन है। बीते दिनों जस्टिन ट्रूडो ने अपने देश की संसद में कनाडा की धरती पर खालिस्तान समर्थक नेता हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारत सरकार की एजेंसियों की संलिप्तता के आरोप लगाए। इसके साथ ही कनाडा ने अपने यहां शीर्ष भारतीय राजनयिक को सस्पेंड कर दिया।
भारत ने भी इस कार्रवाई का जवाब उसी भाषा में दिया और नई दिल्ली में कनाडा के उच्चायुक्त कैमरून मैके को निष्कासित करते हुए 5 दिन के अंदर उनसे देश छोड़ने के लिए कह दिया। हरदीप सिंह निज्जर, जिसकी इस साल जून में एक गुरुद्वारे के बाहर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी, को जुलाई 2020 में भारत द्वारा ‘आतंकवादी’ नामित किया गया था। हरदीप सिंह निज्जर एक कनाडाई नागरिक था।